सादगी पर शायरी 2 line | Sadgi Shayari

सादगी पर शायरी 2 line: प्यारे साथियों, किसी बदनाम शायर ने क्या खूब कहा है कि सादगी हर श्रंगार के आगे फीका है। वास्तव में जो आकर्षण सादगी में है वो किसी बनावटी ख़ूबसूरती में कहा होती है। दोस्तों अगर आप Sadgi Shayari सर्च कर रहे है तो आप सही वेब पेज पर आये है। और निःसंदेह आपकी तलाश यहाँ समाप्त होती है। तो चलिए कुछ सादगी पर शायरी चेक करते है तो पोस्ट में लास्ट तक बने रहिये। ‘सादगी’ पर शायरों के अल्फ़ाज़। यह भी पढ़िए: दिल छू लेने वाली जिन्दगी शायरी

Sadgi Shayari: सादगी पर ख़ूबसूरत शेर, सादगी पर बेहतरीन शायरी 2 line
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तेरी सादगी ही कत्ल करती है मेरा,
क्या होगा जब सँवर के आओगी !!

बहुत ली मेने सज धज के फोटो,
पर जो सुकून मुझे सादगी में मिला वो कही और नहीं!!

आकर्षण गति पकड़ता है और क्षण भर ठहरता है ,
प्रेम आहिस्ता सरकता है और उम्र भर टिकता है.

सादगी किसी श्रृंगार से कम नहीं होती ,
चिंगारी किसी अंगार से कम नहीं होती!
ये तो अपनी अपनी सोच का फर्क है बरना ,
दोस्ती किसी प्यार से कम नहीं होती !!

तेरी सादगी मैं इतना हुस्न है, तो तेरे श्रींगार मैं क्या होगा..♥
तेरे गुस्से में इतना प्यार है, तो तेरे प्यार में क्या होगा !!

तेरी सादगी को निहारने का दिल करता है,
तमाम उम्र तेरे नाम करने का दिल करता है,
एक मुकम्मल शायरी है तू कुदरत की,
तुझे ग़ज़ल बनाके जुबान पर लाने को दिल करता है !!

तेरी मुस्कुराहट, तेरी सादगी अच्छी लगती है,
तेरा ख्याल, तेरी यादें अच्छी लगती है,
तू दे अब शिक़ायत या दे अपनी चाहत,
अब तेरी सारी बातें अच्छी सी लगती हैं,
धड़कना है दिल जिस दिन तेरे नाम से,
उस दिन से हमें अपनी धड़कने अच्छी लगती हैं !!

हमें तो इक बेवफ़ा की सादगी ने छला है,
वरना ये उल्फ़त और मोहब्बत क्या बला है !

सादगी इतनी भी नहीं है अब बाकी मुझमें,
कि तू वक़्त गुज़ारे और मै मोहब्बत समझूं।

सुंदरता हो न हो, सादगी होनी चाहिए।
खुशबू हो न हो, महक होनी चाहिए।।
रिश्ता हो न हो, बंदगी होनी चाहिए।
मुलाकात हो न हो, बात होनी चाहिए।
यूं तो उलझे है सभी अपनी उलझनों में,
सुलझाने की कोशिश हमेशा होनी चाहिए !!

बड़ी सादगी से हो गए हैं गुम,
तेरे वायदे, तेरे कसमें, तेरे रास्ते, तेरे राब्ते, और तुम।।

उसकी सादगी की कोई इन्तहा नहीं है,
यही तो मेरे प्यार करने के वजह रही है,
माना की उसमे अलग कुछ भी नहीं है,
पर जो उसमे है वो किसी और में नहीं है।

नशा होता तो कबका उतर जाता,
बस मुझे तलब है तेरी सादगी की।

हुस्न वाले जब तोड़ते हैं दिल किसी का,
बड़ी सादगी से कहते है मजबूर थे हम..!!

तेरी सादगी,तेरी आजिजी,तेरी हर अदा कमाल है,
मुझे फक्र है, मुझे नाज़ है,मेरा यार बेमिसाल है।

हम सादगी में झुक क्या गए,
लोगों ने समझा हमारा दौर ही खत्म हो गया।

कोई ताबीज़ ऐसा दो कि,
मैं चालाक हो जाऊं…
बहुत नुकसान देती हैं मुझे,
ये सादगी मेरी !!

बहुत खुबसूरतीसे उसने, अपने प्यारका इजहार किया,
ये हवाएँ भी थम गयी, उसकी सादगी देखकर !!

तेरी हालत से लगता हैं, तेरा अपना था कोई,
वरना इतनी सादगी से, बरबाद कोई गैर नहीं करता !!

दोस्तों, सादगी पर शायरी 2 line, Sadgi Shayari के बारे में यह जानकारी आपको कैसे लगी? नीचे कमेन्ट करके जरुर बताइए। ऐसे ही तमाम रोचक जानकारी के लिए हमारी साईट www.devbhumiuk.com पर आते रहिये।

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